विजयेंद्र सिंह जाट समुदाय के बहुत प्रतिष्टित जमींदार थे भगवान कि कृपा से उन्हें किसी प्रकार कि कोई कमी नही थी धन दौलत इज्जत शोहरत सभी था कमी थी तो सिर्फ एक वारिस कि उन्हें एक ही बेटी थी जिसका नाम बड़े प्यार से उन्होंने एव उनकी पत्नी पल्लवी ने सर्वप्रिया रखा था। सर्वप्रिया जैसा नाम वैसा ही गुण रूप रंग बौद्धिक क्षमता में सर्वप्रिया का कोई जवाब नही था ऐसा लगता था जैसे ईश्वर ने सर्वप्रिया को बहुत समय निकाल कर सृष्टि को उपहार के रूप में उसे विजयेंद्र सिंह को पुत्री के रूप में सौंपा है ।जब सर्वप्रिया