अतीत के पन्ने - भाग 40

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मुझे न,,मैं मैं करती हूं रो रही थी।आलेख ने देखा मैं तुम्हारी मदद कर सकता हूं एक अच्छे डाक्टर कि सलाह लें सकती है।।पिया ने कहा अरे बहुत सारे डाक्टर के पास गए हम पर कुछ नहीं हुआ तो एक रात मैंने देखा मेरे पिता समान,ससुर जी मैं पास आकर बैठ गए और फिर बोले कि देखो घर की बात घर में ही रहेगी।।मैं तो यह सुनकर दंग रह गई और किसी तरह से खुद को बचा कर बाथरूम में जाकर बन्द कर के बैठ गई।आलेख ने कहा बस करो मुझे यह सब नहीं सुनना है तुमने मुझे दुख देने