अधेड़ उम्र की यमुना के घर के बाहर आँगन में एक विशाल वृक्ष था। उस वृक्ष पर कई पक्षी अपना घोंसला बनाकर रहते थे। यमुना हर सुबह पक्षियों को दाना डालती और पक्षी भी रोज़ दाना चुगने नीचे आते थे। आज यमुना के छोटे बेटे राघव का विवाह था। यमुना बहुत ख़ुश थी लेकिन राघव का चेहरा उदास था। उसे अपने बड़े भाई की कमी बहुत खल रही थी। रिश्तेदारों ने यह पूछ-पूछ कर कि बड़ा बेटा और बहू विवाह में क्यों नहीं आए, यमुना की नाक में दम कर दिया था। सच्चा कारण तो यमुना किसी को बता नहीं