प्रेरित मां के पास आता है और उनके सिर पर हाथ फेरते हुए कहता है –" क्या बात है मां, जो आपको इतना परेशान कर रही है और जो आप मुझसे कहना चाहती हो" | पुष्पा एक गहरी सांस लेती है और कहती है, –"बेटा… मैं तुम्हें एक बात बताना चाहती हूं, यह एक ऐसा राज है जो बरसों से मेरे दिल में चुभ चुभ कर नासूर बन गया है, मैं अब मरने वाली हूं यह मैं जानती हूं इसीलिए सच्चाई बता रही हूं | यह सच सुनकर शायद तू मुझे कभी माफ ना करें लेकिन तेरा जो भी फैसला होगा