त्रिधा अपने हॉस्टल पहुंची तो देखा सभी लड़कियां अपने अपने घर जाने की तैयारियां कर रही थीं। अब इम्तेहान खत्म हो चुके थे तो कोई भी हॉस्टल में नहीं रुकने वाला था। माया भी बहुत खुशी खुशी अपना सामान जमा रही थी और कपड़ों के आलावा उसका लगभग सारा समान वहीं था।"तुम यह सब यहीं छोड़ जाओगी ?" त्रिधा ने माया से पूछा।"हां त्रिधा, लौट कर तो यहीं आना है न।" कहकर माया मुस्कुरा दी।"अच्छे से जाना और अपना ध्यान रखना" त्रिधा ने माया को गले लगाते हुए कहा।"एक बात कहूं?" माया ने पूछा।"बोलो न माया।" त्रिधा ने मुस्कुराहट के