जीवन के बर्णमाला

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वैसे तो देखी गयी है कि किताब में लिखी हुई बर्णमाला के साथ जिवन का हर भाव जुड़ी हुई होती है । तो इस दौरान हम आपको अपनी जीन्दगी के हर सुख-दुख पलों को याद दिलाना चाहते हैं, इस नोबेल पर । तो दोस्तों और पाठकों चलिए इस "जीवन के बर्णमाला" की ओर बढते हैं । तो इस हिसाब से हमारी पेहली अक्षर है, "अ" । तो चलिए अब "अ" अक्षर से सुरुआत करते हैं । अ - अभिमान्