पढ़ी लिखी बहू

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एक बार की बात है एक लड़की थी. जिसका नाम कुहू था. बचपन से ही कुहू बेहद सुशील, संस्कारी, समझदार और होशियार लड़की थी. वह एक छोटे से गांव में रहती थी. गांवों की हालत हम सब से छुपी नहीं है! हम सभी गांव की परंपरा और हालातों से वाकिफ है. कुहू बहुत ही चंचल बच्ची थी. वह बहुत ही समझदार थी. उसे बचपन से ही पढ़ने लिखने का जुनून सवार था. छोटी सी कुहू के मन में और आंखों में बहुत बड़े-बड़े सपने बचपन से ही थे. वह जब भी पढ़ते हुए किसी बच्चे को देखती उसका भी पढ़ने का