गूगल बॉय - 15

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गूगल बॉय (रक्तदान जागृति का किशोर उपन्यास) मधुकांत खण्ड - 15 गूगल की मित्र अरुणा ने भी रक्तदान का प्रचार-प्रसार करने के लिये एड़ी-चोटी का ज़ोर लगा रखा था। पिछले सप्ताह से वह मन्दिर के पुजारी से मिलकर प्रतिदिन सत्संग में जाकर महिलाओं के बीच रक्तदान की चर्चा करती। प्रारम्भ में तो एक-दो महिलाओं का ही समर्थन मिला, कुछ ने खुलकर विरोध भी किया। अरुणा उन लोगों में से नहीं थी जो विरोध का सामना नहीं कर पाते और निराश होकर बीच में ही मैदान छोड़ जाते हैं। वह तो अपने मित्र गूगल की भाँति दृढ़ निश्चय तथा विश्वास से