यूँ ही राह चलते चलते -19- तभी संजना ने आवाज दी ‘‘आंटी इधर आइये देखिये कितना अद्भुत दृश्य है ।’’ चारों फोटोग्राफी छोड़ कर उस गैलरी से बाहर खुले स्थान पर गये। वहाँ सच ही अवर्णनीय दृश्य था। चारों ओर बर्फ ही बर्फ थी ।यहाँ तक कि आकाश से भी बर्फबारी हो रही थी। जब वो सब वहाँ पहुँचे तो कुछ देर भी वहाँ खड़ा होना मुश्किल हो रहा था हाथ बिल्कुल सुन्न हो गये थे। आँखे पलकों पर बर्फ गिरने से बन्द हुई जा रही थी। कुछ ही क्षणेां में उस बर्फबारी का सामना करना कठिन हो गया और