यूँ ही राह चलते चलते - 1

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यूँ ही राह चलते चलते -1- चाय की चुस्की लेते हुए रजत बोले ’’ अगर तुम मुझे पाँच लाख रुपये दो तो मैं तुम्हें एक सरप्राइज दे सकता हूँ। ‘‘ ’’ ये कौन सा सरप्राइज है जिसकी कीमत पाँच लाख है?‘‘ ’’घाटे में नहीं रहोगी ये वादा है। ‘‘ बात को मजाक में लेते हुए अनुभा ने भी हाँ कह दी । बात आई गई हो गई। शाम को उसे पता चला कि बात गंभीर थी और उसे सच में पाँच लाख का इंतजाम करना होगा । पर सरप्राइज इतना आकर्षक था कि अनुभा को पाँच लाख का सौदा भी