! घरोंदा ! सुनीता आज बहुत खुश थी ! २ दिन पहले ही उसकी शादी हुइ थी और आज वो उसके पति के साथ मुंबई जाने वाली थी, उसका पती मुंबई में एक कंस्ट्रक्शन कंपनी में काम करता था ! सो वो कुछ सामान की पोटली साथ बांध कर उसके पति के साथ मुंबई जाने वाले ट्रक में सवार हो गयी ! सुनीता का पिता रंगा एक गरीब किसान था जिसके पास बेटी के ब्याह के लिए भी पूंजी नहीं थी ! उसने पहले से ही उसकी बची खुची जमीन साहूकार के पास गिरवी रखी थी ! गरीबी के कारन