लघुकथा कहानियाँ पढ़े और PDF में डाउनलोड करे

Stories and books have been a fundamental part of human culture since the dawn of civilization, acting as a powerful tool for communication, education, and entertainment. Whether told around a campfire, written in ancient texts, or shared through modern media, Short Stories in hindi books and stories have the unique ability to transcend time and space, connecting people across generations and cult...Read More


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  • नागिन - की नई काहाणी

    काहाणी शुरु करते हे लेकिन पेहले नागिन कि आखरी जंग पडलो तो ही समज आएगा तो काहाणी...

  • ना छलो मुझे

    आदित्य का आज रिज़ल्ट आना था। आई आई एम सी की इंट्रेस परीक्षा उसने दी थी। पेपर अच्...

  • बदल गया मौसम

    बदल गया मौसम वह ट्रेन से उतर कर, स्टेशन परिसर के बाहर निकली ही थी कि मौसम बदलने...

लघुकथाएँ By Kishanlal Sharma

1--मापदण्डकिसी के घर मौत होने पर शमसान जाकर घर लौटके आने पर पत्नी घर के बाहर ही पानी की बाल्टी रख देेती।नहाने के बाद हीी घर मे प्रवेश करने देेती थी।हार्ट अटेक की वजह से माँ क...

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लेखन की दुनिया मे पहेला कदम By Shivani M.R.Joshi

लेखन की दुनिया में हमारा पहला दिन जब शुरू हुआ तब हमें लेखक बनने का ना कोई जज्बा था और ना कोई उम्मीद थी बस कुछ था तो एक चाहत थी कुछ लिखने की एक छोटी सी हमने दोस्त पर चार पंक्ति लिखी...

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घनी छाँव By Sneh Goswami

घनी छाँव महानगर की रेलमपेल । सब भागदौङ में व्यस्त हैं । घर के चारों ओर कंक्रीट का जंगल बना है , कहीं कोई जान पहचान नहीं । जो जानते हैं ,वे भी अपने आप में इतने अस्तव्यस्त हैं क...

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रात का खेल चले By Appa Jaunjat

ये काहाणी एक डरावणी हे ये शो का नाम रात का खेल चले हे तो चलो देखे . एक गाव था तब एक आत्मा आती है और बोलती हे मे अपनी काहाणी बताने जा रही हो तब वो काहाणी बताती हे एक गाव मे मेरा परि...

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नागिन - की नई काहाणी By Datta Jaunjat

काहाणी शुरु करते हे लेकिन पेहले नागिन कि आखरी जंग पडलो तो ही समज आएगा तो काहाणी शुरु करते हे हमणे पिछले अध्याय मैं देखा कि नेहा कि बेटी कोइ और नही वो चंद्रकला हे वो अपनी काहाणी फिर...

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विरासत By Mukta Priyadarshani

सुबह के 7 बजे घंटी बजी, यह नाश्ते के लिए मैस के खुलने का संकेत था। “मृणालिनी लैट्स गो फॉर ब्रेक्फ़स्ट” शमा ने चिल्लाते हुए कहा कि दूसरी मंज़िल तक आवाज़ पहुँच सके। और ठीक उसी अंदाज़...

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नागिन‌ - की आखरी जंग By Datta Jaunjat

काहाणी शुरू करते लेकीन पेहले नागिन का अंतिम इंतकाम पडलो तो ही समज आएगा तो काहाणी शुरु करते हे हमणे पिछले अध्याय मैं देखा कि नागराणी कि बेटी संजना को किसणे तो मारा था तब शिव उसे ठिक...

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निस्वार्थ प्रेम में जीता हुआ इंसान का स्वरुप चित्रण एवम चाल चलन वा चारित्रिक अवकलन By Arvind Singh

अरविंद सिंह, आज आप लोगों को कुछ अपने अंदर के विचारों एवं परिकल्पनाओं को आप सभी पाठकों के समक्ष प्रस्तुत करने जा रहा हूं। तो चलिए शुरू करते हैं - इंसान जब जन्म लेता है तब वह अबोध र...

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ना छलो मुझे By Neerja Pandey

आदित्य का आज रिज़ल्ट आना था। आई आई एम सी की इंट्रेस परीक्षा उसने दी थी। पेपर अच्छा हुआ था,उसे पूरी उम्मीद थी कि उसका सेलेक्शन हो जाएगा। जैसे ही मोबाइल में नोटिफिकेशन कि आवाज आई । उ...

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खोखले होते रिश्ते By Kishanlal Sharma

खोखले होते रिश्ते व अन्य लघुकथायें1--खोखले होते रिश्ते"काजल कह रही थी।शुक्रवार को चली जा।एक दिन और मिल जाएगा।"मैं एक साहित्यिक कार्यक्रम में भाग लेने के लिए रुद्रपुर जा रहा था।बस म...

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बदल गया मौसम By anshu Singh

बदल गया मौसम वह ट्रेन से उतर कर, स्टेशन परिसर के बाहर निकली ही थी कि मौसम बदलने लगा। जैसे-जैसे उसके कदम आगे बढ़ रहे थे, वैसे-वैसे धूप-छांव का खेल भी बढ़ रहा था। लेकिन कुछ ही लम्हो...

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नागिन - का अंतिम इंतकाम By Datta Jaunjat

काहाणी शुरु करते हे . लेकिन पेहले नागिन कि अनोखी काहाणी पडलो तो ही समज आएगा . तो चलो काहाणी शुरु करते हे . बेला कि बेटी आरही हे काहाणी को पुरा करणे और वो रहस्य कोनसे हे देखेगे चलो...

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गुजिया By Mugdha

दिया की शादी के बाद पहली होली थी। शाम की पार्टी की सभी तैयारियां लगभग हो चुकी थी। दिया ने सोचा कि वो अपने हाथों से गुजिया बनाकर सबको सरप्राइज़ देगी। पर जब उसने गुजिया बनानी शुरू की...

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एक होली ऐसी भी By Rj Ritu

दोस्तो सबसे पहले तो आप सभी को रंगो से भरे होली के त्यौहार की बहुत बहुत शुभकामनाएं। दोस्तो होली का नाम सुनते ही पहला खयाल रंगो का आता है , हर दिशाओं में जगमगाता इन्द्रधनुष का सात...

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चुभती चकाचौंध By mandavi barway

"रोल साउंड..... कैमरा....... एंड.... एक्शन.... .. .. .. .. .. .. .. .. कट। कट। कट।दिल से स्माइल करो रोहिणी। चलो एक बार और।""कट। कट। क्या रोहिणी! आज हुआ क्या है तुम्हें??? ये आठवाँ...

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लहू का रंग एक है By S Sinha

कहानी - लहू का रंग एक है उस दिन कॉलेज की पढ़ाई पूरी कर विजय अपने गाँव लौट रहा था . अचानक ही जोरों क...

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आलिंगन (The BIG One) By Ashish Saxena

फेसबुक पर बहुत सारे लाइक्स, लव इमोजीस आ रही थी, छाया बहुत ही आह्लादित थी । इतने वर्षो बाद उसे परिवार के साथ भ्रमण का अवसर मिला था और वहां उसने बहुत दिनों बाद अलग से एकल पिक्चर्स क्...

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नागिन - कि अनोखी काहाणी By Datta Jaunjat

काहाणी शुरू करते हे हमणे पिछले अध्याय मैं देखा कि नागराणी रुही मर गइ थी लेकिन रुही को किसणे मारा लेकिन जब रुही लेगी पुनर्जन्म दो साल बाद एक लडकी मंदिर मे तांडव करती है तब वो बोलती...

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उम्मीदों की छाॅंव में.... By pooja rani sori

6 साल की श्रीजा , जिसे पूरा विश्वास है कि "अच्छे लोगो के साथ हमेशा अच्छा होता है।" ये कहानी श्रीजा के उसी विश्वास और जीवन की वास्तविकता के बीच की संजीदा पहेली है। समय खुद में इतना...

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अजब गजब - 1 By Mens HUB

आज एक अजीबो गरीब मामला कोर्ट में पेश हुआ   अच्छा क्या हुआ ?   एक कवित्री पत्नी का विवाह एक क्रांतिकारी पति से हो गया   फिर क्या हुआ ?   विस्फोट    अच्...

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सम्मान By Mens HUB

नरेश अपने माँ बाप का इकलौता लड़का था और शायद गांव में अकेला जो दिल से खेती करना चाहता था । गांव के अन्य लड़के जो पढ़ लिख गए थे या तो मजबूरी में खेती करते थे या फिर खेती छोड़ चुके थे पर...

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अंतिम पर्यटन By Ratna Raidani

मधु मेरी कॉलेज की सहपाठी, मेरी अभिन्न सहेली आज मेरे शहर, मेरे घर पर आ रही थी। मेरी खुशी को नापने का अगर कोई पैमाना होता तो शायद वह भी आज नाकामयाब हो जाता। मधु और मैंने नागपुर में स...

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अबकी बार... लल्लन प्रधान - 4 By Bhupendra Singh chauhan

अबकी बार...लल्लन प्रधानपार्ट-4 ★★लल्लन के जवाहर नृत्य महोत्सव में दिए गए रुपयों की चर्चा कई दिनों तक गांव में होती रही।लोग अपनी-अपनी बुद्धि- बल से लल्लन...

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ट्रेन का सफर (खुशी या गम) By Pragya Chandna

आज अवंतिका सुबह से बहुत खुश हैं और हो भी क्यों ना आखिर आज वह अपने दोस्तों के साथ काॅलेज ट्रीप पर आगरा जा रही है पर वह हमेशा की तरह लेट है, उसकी सहेलियां लगातार उसे फोन करके जल्दी आ...

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मेरी और तुम्हारी श्रद्धांजलि... By anshu Singh

चरण स्पर्श कर वह अपनी बड़ी-सी गाड़ी में बैठा और पलक झपकते ही नजरों से ओझल भी हो गया...। मेन गेट पर खड़े बुजुर्ग बस भाव शून्य हो थोड़ी देर वहां ठहरे रहे और फिर अपने कदमों को वापस उस...

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आनंदधाम : कुंती की वेदना By Arin Kumar Shukla

आनंदधाम कुंती की वेदना अरिन कुमार शुक्ला दो शब्द मैंने 15 वर्ष की आयु मे मानवीय करुणा की एक झलक को कलम की स्याही से उकेरने का प्रयास किया है। स्वाभाविक रूप से यह एक आदर्श...

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नागिन - का पाचवा अध्याय By Datta Jaunjat

ये काहाणी सो साल पुराणी हे एक टेकडी पे मूजूत मंदिर से शुरू होगा नागिन का पाचवा अध्याय मंदिर मे आरती चालू थी तब शिव के चरणो से एक नागिन आती है और वो तांडव करती है तब शिव आते है...

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आदमखोर By Amulya Sharma

हमेशा की तरह दिसंबर आते ही मेरे कॉलेज में विंटर वेकेशन घोषित हो गई और मै अगले ही दिन गांव की तरफ निकल पड़ा.जीरो रोड डिपो से सुबह सात बजे की बस पकड़ी और एक बजे मै घर पर था. गांव की...

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જીવન-સંગીની By DIPAK CHITNIS. DMC

દિપક એમ. ચિટણીસ dchitnis3@gmail.com -: જીવન-સંગીની :- ---------------------------------------------------------------------- સપના છેલ્લા ઘણા સમયથી બદલાયેલી બદલાયેલી લાગી રહી છે. એ...

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कुत्ते की मौत By Mens HUB

कुत्ते की मौतताया : अरे ओ गंगाराम कहाँ भागे जा रहे हो।गंगाराम : ताया,वह अपने गंगू ने आत्महत्या कर ली हैं।ताया : तो भई गंगाराम उल्टी दिशा में काहे भागे जा रहे हो, गंगू का घर तो दूसर...

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ज़िन्दगी और थैला By Ajitabh Shrivastava

ज़िन्दगी और थैला - एक विचारबस यूं ही एक ख्याल आता है, ज़िन्दगी और थैला, कितने एक जैसे हैं, कभी उस नज़र से देखो, कभी उस भाव से परखो, तू यू लगे जैसे एक दूसरे का प्रतिरूप हैं दोनों -यूँ...

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निर्णय By Amrita Sinha

लघुकथा ————निर्णय - अमृता सिन्हा , मुंबई ------------------- सिंगापुर से भाई का कॉल आने के बाद प्रीता भी चिंतित थी कि भाई ने माँ का हाल- चाल पूछने को कॉल मुझे क्यों किया,...

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गजल By SURENDRA ARORA

गजल " इतने दिनों तक नाराज थे न. " " मतलब तुम जानती थी कि मेरा मूड ठीक नहीं है और तुम्हे लेकर मैं अपसेट हूँ. " " शुरू में तो इल्म नहीं था पर जब इतने दिनों तक तुमने कोई बात नहीं की,...

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तुम्हारे बग़ैर By Arjun Allahabadi

""""""""तुम्हारे बगैर""""""By... Arjun Allahabadiअगर सही कहा जाये तो "अपनों की सही पहचान कठिन परिस्थितियों में ही होती है"। चीन के वुहान शहर से आये कोरोना वायरस ने जो दुनियाँ में त...

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उस रात का खसारा By Deepak Bundela AryMoulik

उस रात का खसारा इंसान की पेचीदगी भी क्या गुल खिलाती हैं..ना खुद हद्द में रहती हैं ना औरों को रहना सिखाती हैं...ज़िन्दगी में कभी एक भी लंबे वक़्त का ठिकाना ना हुआ... जवानी के दौर में...

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बाप दादा की इज्जत By ramgopal bhavuk

लघु कथायें 1. बाप दादा की इज्जत स्ुाबह जब सुदेश सोकर उठा तब पत्नी सरला अपनी रसोई के बरतनों को सम्बोधित करके कह रही थीं-‘अरे! महिनों से खाली पड़े ह...

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नागिन - की अधुरी काहाणी By Datta Jaunjat

पिछले अध्याय मैं हमणे देखा कि शिव ने काहा था की मानसी की बेटी मर जाएगी लेकिन मानसी की बेटी बच गइ थी लेकिन उस बच्ची मे बुराइ थी तब पंडित बोलते है की इसको और खुदको बचाणे वो आरहा हे...

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एक तलाश By Annada patni

अन्नदा पाटनी सड़क के किनारे अपने सामान के साथ आरती खड़ी थी । किधर जाए, कुछ नहीं सूझ रहा था । आज अपना घर होता तो शायद यह स्थिति नहीं आती । इतने घर होते हुए भी कहने को उसका अपना एक भ...

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पति पत्नी और ट्विटर By S Sinha

कहानी - पति पत्नी और ट्विटर काफी अर्से बाद मुझे गीता का फोन आया था . तीन दशक से...

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झुमरी तलैया By S Sinha

कहानी - झुमरी तिलैया बीते दिनों की बात है . पान की उस दुकान पर अच्छी खासी भीड़ जमा थी .उन दिनों प्रातः आठ बजे से रेडियो सीलोन पर...

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नागिन - का अधुरा इंतकाम By Datta Jaunjat

एक नागिन कि काहाणी अधुरी रेह गइ हे इस काहाणी को वापस लाने का उदेश हे कि नागिन जब लेगी पुनर्जन्म तब होगी काहाणी पुरी तो चलो देखते हे माणसी और नक्ष को उनके घरवालो ने मारडाला हे तब शि...

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सख़्त पिता By praveen singh

अम्बेडकर पार्क, जो कि गोरखपुर में तारामंडल रोड़ पर है| शाम का वक्त था और पार्क में काफी चहल पहल थी| उसी पार्क में एक बेंच पर बैठी रिया बार - बार अपनी घड़ी की तरफ देखे जा रही थी| सॉ...

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स्वर्ग का द्वार By Ashish

*स्वर्ग का द्वार:-*सुबह का समय था। स्वर्ग के द्वार पर चार आदमी खड़े थे। स्वर्ग का द्वार बंद था। चारों इस इंतजार में थे कि स्वर्ग का द्वार खुले और वे स्वर्ग के भीत...

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महामारी में हमारी हिस्सेदारी By Suvidha Gupta

बेहद सुकून के दिन थे, बेहद सुकून की रातें थी साहेब। जाने कैसी हवा चली सब उड़ा ले गई। कभी सपने में भी नहीं सोचा था जिस महामारी का जिक्र इतिहास के पन्नों में कहीं-कहीं दर्...

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विवाह संस्कार का महत्व By Suvidha Gupta

जन्म से लेकर मृत्यु तक हमारे सनातन समाज में बहुत से संस्कार हैं। प्रत्येक संस्कार का हमारे जीवन में बहुत महत्व है। हमारा जीवन पवित्रता और मर्यादा से भरा रहे, इसके...

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प्रथम मृत्यु दर्शन By Rama Sharma Manavi

वैसे तो अबतक के जीवनकाल में कई प्रियजनों से दुखद वियोग का सामना करना पड़ा है लेकिन असामयिक,आकस्मिक निधन अधिक पीड़ादायक होता है, वह भी तब जब हमें कोई प्रयत्न करने का मौका ही न प्रा...

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तुम्हारी याद आएगी By S Sinha

कहानी - तुम्हारी याद आएगी बंगाल में दुर्गा पूजा की छुट्टियां थीं . दरअसल दो दिन बाद ही दुर्गा पूजा की सप्तमी थी .इन दिनों कोलकाता की रौनक देखने लायक ह...

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वो ज़िंदा है मुझमें By Broken_Feather

"तुम मेरा साथ तो दोगे ना, मेरे साथ ऐसे ही रहोगे न हमेशा"मुझे चौंका दिया इन शब्दों ने,जो काफ़ी दूर से आ रही आवाज के थे जिसमें एक नवयुवती अपने साथ बैठे नवयुवक से ये कह रही थी।मेरा ध्य...

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नागिन - की अंतिम कहाणी By Datta Jaunjat

हम काहाणी शुरु करते हे. एक train पुणा जारही थी तब बारीश के कारण train रूक जाती हे तब एक लडकी आती है और नाचती हे cham cham इस गाणे पे तब एक लडका आता हे और उसके साथ नाचता हे डान्स ख...

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तू है पतंग मैं डोर - 2 - अंतिम भाग By S Sinha

अंतिम भाग -2 पिछले अंक में आपने पढ़ा कि विकास और मान्यता बचपन के वर्षों बाद कॉलेज में मिलते हैं …. कहानी - तू है पतंग मैं डोर...

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लघुकथाएँ By Kishanlal Sharma

1--मापदण्डकिसी के घर मौत होने पर शमसान जाकर घर लौटके आने पर पत्नी घर के बाहर ही पानी की बाल्टी रख देेती।नहाने के बाद हीी घर मे प्रवेश करने देेती थी।हार्ट अटेक की वजह से माँ क...

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घनी छाँव By Sneh Goswami

घनी छाँव महानगर की रेलमपेल । सब भागदौङ में व्यस्त हैं । घर के चारों ओर कंक्रीट का जंगल बना है , कहीं कोई जान पहचान नहीं । जो जानते हैं ,वे भी अपने आप में इतने अस्तव्यस्त हैं क...

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रात का खेल चले By Appa Jaunjat

ये काहाणी एक डरावणी हे ये शो का नाम रात का खेल चले हे तो चलो देखे . एक गाव था तब एक आत्मा आती है और बोलती हे मे अपनी काहाणी बताने जा रही हो तब वो काहाणी बताती हे एक गाव मे मेरा परि...

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नागिन - की नई काहाणी By Datta Jaunjat

काहाणी शुरु करते हे लेकिन पेहले नागिन कि आखरी जंग पडलो तो ही समज आएगा तो काहाणी शुरु करते हे हमणे पिछले अध्याय मैं देखा कि नेहा कि बेटी कोइ और नही वो चंद्रकला हे वो अपनी काहाणी फिर...

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विरासत By Mukta Priyadarshani

सुबह के 7 बजे घंटी बजी, यह नाश्ते के लिए मैस के खुलने का संकेत था। “मृणालिनी लैट्स गो फॉर ब्रेक्फ़स्ट” शमा ने चिल्लाते हुए कहा कि दूसरी मंज़िल तक आवाज़ पहुँच सके। और ठीक उसी अंदाज़...

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नागिन‌ - की आखरी जंग By Datta Jaunjat

काहाणी शुरू करते लेकीन पेहले नागिन का अंतिम इंतकाम पडलो तो ही समज आएगा तो काहाणी शुरु करते हे हमणे पिछले अध्याय मैं देखा कि नागराणी कि बेटी संजना को किसणे तो मारा था तब शिव उसे ठिक...

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काहाणी शुरु करते हे . लेकिन पेहले नागिन कि अनोखी काहाणी पडलो तो ही समज आएगा . तो चलो काहाणी शुरु करते हे . बेला कि बेटी आरही हे काहाणी को पुरा करणे और वो रहस्य कोनसे हे देखेगे चलो...

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दोस्तो सबसे पहले तो आप सभी को रंगो से भरे होली के त्यौहार की बहुत बहुत शुभकामनाएं। दोस्तो होली का नाम सुनते ही पहला खयाल रंगो का आता है , हर दिशाओं में जगमगाता इन्द्रधनुष का सात...

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नागिन - कि अनोखी काहाणी By Datta Jaunjat

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अंतिम पर्यटन By Ratna Raidani

मधु मेरी कॉलेज की सहपाठी, मेरी अभिन्न सहेली आज मेरे शहर, मेरे घर पर आ रही थी। मेरी खुशी को नापने का अगर कोई पैमाना होता तो शायद वह भी आज नाकामयाब हो जाता। मधु और मैंने नागपुर में स...

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अबकी बार... लल्लन प्रधान - 4 By Bhupendra Singh chauhan

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ट्रेन का सफर (खुशी या गम) By Pragya Chandna

आज अवंतिका सुबह से बहुत खुश हैं और हो भी क्यों ना आखिर आज वह अपने दोस्तों के साथ काॅलेज ट्रीप पर आगरा जा रही है पर वह हमेशा की तरह लेट है, उसकी सहेलियां लगातार उसे फोन करके जल्दी आ...

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मेरी और तुम्हारी श्रद्धांजलि... By anshu Singh

चरण स्पर्श कर वह अपनी बड़ी-सी गाड़ी में बैठा और पलक झपकते ही नजरों से ओझल भी हो गया...। मेन गेट पर खड़े बुजुर्ग बस भाव शून्य हो थोड़ी देर वहां ठहरे रहे और फिर अपने कदमों को वापस उस...

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आनंदधाम : कुंती की वेदना By Arin Kumar Shukla

आनंदधाम कुंती की वेदना अरिन कुमार शुक्ला दो शब्द मैंने 15 वर्ष की आयु मे मानवीय करुणा की एक झलक को कलम की स्याही से उकेरने का प्रयास किया है। स्वाभाविक रूप से यह एक आदर्श...

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नागिन - का पाचवा अध्याय By Datta Jaunjat

ये काहाणी सो साल पुराणी हे एक टेकडी पे मूजूत मंदिर से शुरू होगा नागिन का पाचवा अध्याय मंदिर मे आरती चालू थी तब शिव के चरणो से एक नागिन आती है और वो तांडव करती है तब शिव आते है...

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आदमखोर By Amulya Sharma

हमेशा की तरह दिसंबर आते ही मेरे कॉलेज में विंटर वेकेशन घोषित हो गई और मै अगले ही दिन गांव की तरफ निकल पड़ा.जीरो रोड डिपो से सुबह सात बजे की बस पकड़ी और एक बजे मै घर पर था. गांव की...

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જીવન-સંગીની By DIPAK CHITNIS. DMC

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ज़िन्दगी और थैला By Ajitabh Shrivastava

ज़िन्दगी और थैला - एक विचारबस यूं ही एक ख्याल आता है, ज़िन्दगी और थैला, कितने एक जैसे हैं, कभी उस नज़र से देखो, कभी उस भाव से परखो, तू यू लगे जैसे एक दूसरे का प्रतिरूप हैं दोनों -यूँ...

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निर्णय By Amrita Sinha

लघुकथा ————निर्णय - अमृता सिन्हा , मुंबई ------------------- सिंगापुर से भाई का कॉल आने के बाद प्रीता भी चिंतित थी कि भाई ने माँ का हाल- चाल पूछने को कॉल मुझे क्यों किया,...

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गजल By SURENDRA ARORA

गजल " इतने दिनों तक नाराज थे न. " " मतलब तुम जानती थी कि मेरा मूड ठीक नहीं है और तुम्हे लेकर मैं अपसेट हूँ. " " शुरू में तो इल्म नहीं था पर जब इतने दिनों तक तुमने कोई बात नहीं की,...

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""""""""तुम्हारे बगैर""""""By... Arjun Allahabadiअगर सही कहा जाये तो "अपनों की सही पहचान कठिन परिस्थितियों में ही होती है"। चीन के वुहान शहर से आये कोरोना वायरस ने जो दुनियाँ में त...

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उस रात का खसारा By Deepak Bundela AryMoulik

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बाप दादा की इज्जत By ramgopal bhavuk

लघु कथायें 1. बाप दादा की इज्जत स्ुाबह जब सुदेश सोकर उठा तब पत्नी सरला अपनी रसोई के बरतनों को सम्बोधित करके कह रही थीं-‘अरे! महिनों से खाली पड़े ह...

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एक तलाश By Annada patni

अन्नदा पाटनी सड़क के किनारे अपने सामान के साथ आरती खड़ी थी । किधर जाए, कुछ नहीं सूझ रहा था । आज अपना घर होता तो शायद यह स्थिति नहीं आती । इतने घर होते हुए भी कहने को उसका अपना एक भ...

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पति पत्नी और ट्विटर By S Sinha

कहानी - पति पत्नी और ट्विटर काफी अर्से बाद मुझे गीता का फोन आया था . तीन दशक से...

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झुमरी तलैया By S Sinha

कहानी - झुमरी तिलैया बीते दिनों की बात है . पान की उस दुकान पर अच्छी खासी भीड़ जमा थी .उन दिनों प्रातः आठ बजे से रेडियो सीलोन पर...

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नागिन - का अधुरा इंतकाम By Datta Jaunjat

एक नागिन कि काहाणी अधुरी रेह गइ हे इस काहाणी को वापस लाने का उदेश हे कि नागिन जब लेगी पुनर्जन्म तब होगी काहाणी पुरी तो चलो देखते हे माणसी और नक्ष को उनके घरवालो ने मारडाला हे तब शि...

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सख़्त पिता By praveen singh

अम्बेडकर पार्क, जो कि गोरखपुर में तारामंडल रोड़ पर है| शाम का वक्त था और पार्क में काफी चहल पहल थी| उसी पार्क में एक बेंच पर बैठी रिया बार - बार अपनी घड़ी की तरफ देखे जा रही थी| सॉ...

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स्वर्ग का द्वार By Ashish

*स्वर्ग का द्वार:-*सुबह का समय था। स्वर्ग के द्वार पर चार आदमी खड़े थे। स्वर्ग का द्वार बंद था। चारों इस इंतजार में थे कि स्वर्ग का द्वार खुले और वे स्वर्ग के भीत...

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महामारी में हमारी हिस्सेदारी By Suvidha Gupta

बेहद सुकून के दिन थे, बेहद सुकून की रातें थी साहेब। जाने कैसी हवा चली सब उड़ा ले गई। कभी सपने में भी नहीं सोचा था जिस महामारी का जिक्र इतिहास के पन्नों में कहीं-कहीं दर्...

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विवाह संस्कार का महत्व By Suvidha Gupta

जन्म से लेकर मृत्यु तक हमारे सनातन समाज में बहुत से संस्कार हैं। प्रत्येक संस्कार का हमारे जीवन में बहुत महत्व है। हमारा जीवन पवित्रता और मर्यादा से भरा रहे, इसके...

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प्रथम मृत्यु दर्शन By Rama Sharma Manavi

वैसे तो अबतक के जीवनकाल में कई प्रियजनों से दुखद वियोग का सामना करना पड़ा है लेकिन असामयिक,आकस्मिक निधन अधिक पीड़ादायक होता है, वह भी तब जब हमें कोई प्रयत्न करने का मौका ही न प्रा...

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तुम्हारी याद आएगी By S Sinha

कहानी - तुम्हारी याद आएगी बंगाल में दुर्गा पूजा की छुट्टियां थीं . दरअसल दो दिन बाद ही दुर्गा पूजा की सप्तमी थी .इन दिनों कोलकाता की रौनक देखने लायक ह...

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वो ज़िंदा है मुझमें By Broken_Feather

"तुम मेरा साथ तो दोगे ना, मेरे साथ ऐसे ही रहोगे न हमेशा"मुझे चौंका दिया इन शब्दों ने,जो काफ़ी दूर से आ रही आवाज के थे जिसमें एक नवयुवती अपने साथ बैठे नवयुवक से ये कह रही थी।मेरा ध्य...

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नागिन - की अंतिम कहाणी By Datta Jaunjat

हम काहाणी शुरु करते हे. एक train पुणा जारही थी तब बारीश के कारण train रूक जाती हे तब एक लडकी आती है और नाचती हे cham cham इस गाणे पे तब एक लडका आता हे और उसके साथ नाचता हे डान्स ख...

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तू है पतंग मैं डोर - 2 - अंतिम भाग By S Sinha

अंतिम भाग -2 पिछले अंक में आपने पढ़ा कि विकास और मान्यता बचपन के वर्षों बाद कॉलेज में मिलते हैं …. कहानी - तू है पतंग मैं डोर...

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