Geeta Shri की किताबें व् कहानियां मुफ्त पढ़ें

स्वाधीन वल्लभा

by Geeta Shri
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स्वाधीन वल्लभा गीताश्री प्रेम के आस्वाद के लिये शब्दों की भला क्या जरूरत? शायद दुनिया की तमाम भाषायें, प्रेम ...

सलमा सितारा जड़ी मेरी साड़ी

by Geeta Shri
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  • 13.4k

सलमा सितारा जड़ी मेरी साड़ी गीताश्री वह बार बार मुझसे टकरा रही थी। मैं उससे बचने की कोशिश करती ...

गंध-मुक्ति

by Geeta Shri
  • (4.3/5)
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गंध-मुक्ति गीताश्री अस्पताल के कारीडोर में बैठे बेठे सपना ऊब गई थी। लगातार लोगों की आवाजाही लगी थी। अपनी ...

वह रात किधर निकल गई

by Geeta Shri
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वह रात नसीबोवाली नहीं थी. देर रात फोन पर झगड़ने के बाद बिंदू किसी काम के लायक नहीं बची थी। आयशा ...

ब्लाइंड डेट

by Geeta Shri
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वह मुस्कुराने की कोशिश कर रहा है। चेहरे पर स्याह रंगत वह देख समझ सकती है। क्या ईशान भी ...

प्रश्न-कुंडली

by Geeta Shri
  • 20.9k

प्रेम, खौफ, धोखा, दुनिया, रचना, सपना, आकांक्षा, डर, प्रकृति, पानी, बारिश, धूप, बादल, आकाश, पृथ्वी, सौंदर्य, शोख, चंचल, दिल, ...

डुबकी

by Geeta Shri
  • 7.5k

वह लौट रही है अपने घर, मन में तरह तरह की शंकाएं, आशंकाएं लिए। क्या होगा जब वह घर ...

लबरी

by Geeta Shri
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“लबरा लबरी चले बाजार...लबरा गिरा बीच बाजार, लबरी बोली खबरदार...” माला कुमारी ने जिस घड़ी गांव जाने के बारे में ...

मेकिंग आफ बबीता सोलंकी

by Geeta Shri
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“अरे..सब एक साथ उठ कर चल दिए। मैं अकेला रहूंगा अभी से...कोई एक तो रुको, मेरा जाम खत्म हो ...

भूत-खेली

by Geeta Shri
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गाछी अगोरते अगोरते आंखें दुखने लगी हैं घूरना की और और टांगे भी। कौन चोर छौरा- छौरी के पीछे ...