Kafir tamannaye book and story is written by Tawassum niha in Hindi . This story is getting good reader response on Matrubharti app and web since it is published free to read for all readers online. Kafir tamannaye is also popular in Moral Stories in Hindi and it is receiving from online readers very fast. Signup now to get access to this story. काफिर तमन्नाएं Husn Tabassum nihan द्वारा हिंदी सामाजिक कहानियां 5 1.8k Downloads 7.3k Views Writen by Husn Tabassum nihan Category सामाजिक कहानियां पढ़ें पूरी कहानी मोबाईल पर डाऊनलोड करें विवरण काफिर तमन्नाएं मै अमीरनबाई हूँ। उम्र यही कोई 80-85। वक्त के चढ़ाव-उतार खूब देखती रही हूँ। कभी अशरफियों की मलिका थी। आज फुटपाथ पे अमरूद लगाती हूँ। चंद सिक्कों की कमाई पर जिंदगी धकेल रही हूँ। मेरी पीढ़ी के बचे कुचे लोग ही रह गए हैं इस शहर में जिनका अता पता नहीं है। झिलमिल आँखों से मैं इस बदलती बदरंग दुनिया का तिलस्म टटोलती रहती हूँ। पर कुछ साफ नजर नहीं आता। अपनी बिरादरी की दूसरी-तीसरी पीढ़ी भी नजर नहीं आती कहीं। यदा-कदा कुछ नव-उम्र पेशा करने वाली लड़कियाँ दिख जाती हैं। मगर पहचान में नहीं आतीं। वो तो More Likes This रुह... - भाग 8 द्वारा Komal Talati उज्जैन एक्सप्रेस - 1 द्वारा Lakhan Nagar माँ का आख़िरी खत - 1 द्वारा julfikar khan घात - भाग 1 द्वारा नंदलाल मणि त्रिपाठी सौंदर्य एक अभिशाप! - पार्ट 2 द्वारा Kaushik Dave चंदन के टीके पर सिंदूर की छाँह - 1 द्वारा Neelam Kulshreshtha गाजा वार - भाग 1 द्वारा suhail ansari अन्य रसप्रद विकल्प हिंदी लघुकथा हिंदी आध्यात्मिक कथा हिंदी फिक्शन कहानी हिंदी प्रेरक कथा हिंदी क्लासिक कहानियां हिंदी बाल कथाएँ हिंदी हास्य कथाएं हिंदी पत्रिका हिंदी कविता हिंदी यात्रा विशेष हिंदी महिला विशेष हिंदी नाटक हिंदी प्रेम कथाएँ हिंदी जासूसी कहानी हिंदी सामाजिक कहानियां हिंदी रोमांचक कहानियाँ हिंदी मानवीय विज्ञान हिंदी मनोविज्ञान हिंदी स्वास्थ्य हिंदी जीवनी हिंदी पकाने की विधि हिंदी पत्र हिंदी डरावनी कहानी हिंदी फिल्म समीक्षा हिंदी पौराणिक कथा हिंदी पुस्तक समीक्षाएं हिंदी थ्रिलर हिंदी कल्पित-विज्ञान हिंदी व्यापार हिंदी खेल हिंदी जानवरों हिंदी ज्योतिष शास्त्र हिंदी विज्ञान हिंदी कुछ भी हिंदी क्राइम कहानी